दुबहर, बलिया। क्षेत्र के प्राथमिक विद्यालय बसरिकापुर को बंद कर प्राथमिक विद्यालय अगरौली में समायोजित करने के बेसिक शिक्षा अधिकारी के आदेश के खिलाफ में मंगलवार के दिन बसरिकापुर के सैकड़ों ग्रामीणों की बैठक पंचायत भवन में पूर्व जिला पंचायत सदस्य सत्यनारायण गुप्ता की अध्यक्षता में संपन्न हुई । बैठक में ग्रामीणों के अंदर प्राथमिक विद्यालय को बंद किए जाने को लेकर काफी आक्रोश था ।
बैठक को संबोधित करते हुए पूर्व जिला पंचायत सदस्य सत्यनारायण गुप्ता ने कहा 100 वर्ष से अधिक पुराने इस विद्यालय में कई गांव के बच्चे शिक्षा ग्रहण करते चले आ रहे हैं । आज भी इस विद्यालय में अच्छी खासी संख्या है । इसी विद्यालय में कभी हिंदी साहित्य के पुरोधा आचार्य हजारी प्रसाद द्विवेदी सरीखे अनेकों लोगों ने शिक्षा ग्रहण कर समाज को संवारने और सजाने का काम किया । वहीं बेसिक शिक्षा अधिकारी द्वारा इस विद्यालय के भवन को जर्जर दिखाकर दूसरे जगह इस विद्यालय को समायोजित करने का निर्णय पूर्णतया अनुचित है । उन्होंने कहा कि विद्यालय में एक दो कमरे जर्जर हैं बाकी सब कमरा ठीक हैं एक बार और स्थलीय निरीक्षण का सही वस्तु स्थिति से अवगत होना आवश्यक है। इसके अलावा जिस विद्यालय में बच्चों को समायोजित किया गया है वहां जाने के लिए इस गांव के बच्चों को लगभग आधा किलोमीटर राष्ट्रीय राजमार्ग पर चलकर उस विद्यालय में जाना पड़ेगा । जहां छोटे-बड़े वाहनों का भारी दबाव रहता है । ऐसी स्थिति में कोई अभिभावक अपने बच्चों की भविष्य के साथ रिस्क नहीं ले सकता है । ग्रामीणों ने कहा कि बेसिक शिक्षा अधिकारी का यह आदेश इस गांव के बच्चों के भविष्य के साथ खिलवाड़ करने जैसा है। उन्होंने इसके लिए जिलाधिकारी सहित क्षेत्रीय विधायक उत्तर प्रदेश सरकार के परिवहन मंत्री दया शंकर सिंह से भी मिलने की बात कही है । इस मौके पर मुख्य रूप से पूर्व जिला पंचायत सदस्य सतनारायण गुप्ता श्रीराम पांडे अवधेश पांडे योगेश्वर प्रसाद जनार्दन प्रसाद प्रेमसागर पांडे हवलदार प्रजापति गुप्तेश्वर पांडे रामनाथ शर्मा अवध बिहारी जवाहरलाल अर्जुन पासवान कमला प्रसाद रविप्रकाश तिवारी कमलेश कुमार सुधीर कुमार रमेश कुमार शहाबुद्दीन चंद्रमोहन बालेश्वर पटेल राहुल राम चंदू ठाकुर अशरफअली अंकित पासवान मुन्ना यादव संजय गुप्ता प्रेमप्रकाश वर्मा लक्ष्मण यादव दिलीप कुमार सहित अनेक लोग मौजूद रहे।
दुबहड़ से पन्ना लाल गुप्ता की रिपोर्ट:—